देवली:-(बृजेश भारद्वाज)। गुरुवार को फ्रांसीसी 14 सदस्य दल ने मानव धर्म बहु दिव्यांगता विद्यालय का अवलोकन किया जिसमें जिल, सरबजीत सिंह, मैथिल्ड, मारी पियर, एरव मार्क, मालती, क्लेमोंस, कोरीन, कात्ती, लियोनार्दो, मार्क रोबेर, नतालिया, मगाली, ने विद्यालय में अध्ययनरत मानसिक विमंदित एवं मुक बधीर छात्र-छात्राओं की शिक्षण पद्धति के बारे में जानकारी ली, दल के सदस्यों ने बताया कि दिव्यांगता के क्षेत्र में भारत देश में जो विशेष शिक्षण पद्धति है वह कही नही है।
उसकी सरहना करते हुये बताया कि विद्यालय के सभी कार्मिकों की कार्य पद्धति दिव्यांग छात्रों के साथ पूर्ण आत्मियता के साथ की जा रही है। मारी पियर ने बताया की संस्था के मानसिक विमंदित गृह में जो सुविधाऐं दिव्यांग छात्रों को दि जा रही है। ऐसी स्वच्छ एवं उच्चस्तरिय सुविधाएँ दिव्यांग छात्रों के लिए कही नही देखी गई। और उन्होने इसे एक सराहनीय कदम बताया। सरबजीत सिंह ने बताया कि जो शिक्षण पद्धति अपनाई जा रही हैं वो एक चिकित्सकीय पद्धति के साथ-साथ व्यवहारिक शिक्षा का भी भाग है। एरव मार्क, मालती ने संस्था की सराहना करते हुये बताया कि दिव्यांग बच्चों के लिए जो भौतिक चिकित्सा (फिजियोथेरेपी) दी जा रही है।
यह एक बहुत अच्छा कार्य है। विद्यालय की मूक बधीर छात्राओं ने विदेश से आये मेहमानों का तिलक व माला पहनाकर स्वागत किया इसके साथ नतालिया व मगाली ने संस्था निदेशक रणवीर सिंह चौहान के द्वारा जो सुविधाऐं विद्यालय में व मानसिक विमंदित गृह में दी जा रही है। उनकी प्रशंसा करते हुये निदेशक को धन्यवाद दिया इसी के साथ विद्यालय प्रार्चाय महेश कुमार शर्मा ने विद्यालय की गतिविधियों के बारे में जानकारी दी। इस दौरान संस्था के कार्यालय अधीक्षक गजेन्द्र सिंह मीणा, लेखाकार सत्यनारायण सेन, छात्रावास अधीक्षक आशा शर्मा, विशेष शिक्षक बिरदी चन्द प्रजापत, मनोज गुर्जर, शिवराज गुर्जर, धर्मराज धाकड, परमेश्वर कुमार मीणा (महाविद्यालय प्राचार्य) मुकेश कुमार माली, गौरव पाराशर, हर्षिता गौतम, मनिषा शर्मा, कोर्स-कोर्डिनेटर जगत बहादुर यादव, संजय कुमार यादव, अशोक कुमार वर्मा व्याखता-बीना कुमारी, त्रिलोक बंशीवाल, कृष्ण गोपाल सैनी कर्मचारीगण उपस्थित रहे।


